इजरायल के हमले के बाद गाजा में सबसे ज्‍यादा बच्‍चें प्रभावित, 17 हजार अनाथ; 12000 की मौत

In Gaza, wounded children with no surviving family

नई दिल्‍ली । हमास के इजरायल पर हमले (attacks on israel)और फिर गाजा में इजरायली अटैक के बाद यह बच्चों का सबसे बड़ा ‘कब्रिस्तान’ (Graveyard)बन गया है। आंकड़ों के मुताबिक गाजा (Gaza)में अब तक 27 हजार से ज्यादा मौतें हुई हैं उनमें से करीब 12 हजार बच्चे ही हैं। इसके अलावा यूएन की रिपोर्ट के मुताबिक 17 हजार बच्चों के मां-बाप का पता नहीं है। इस तरह हमास और इजरायल के बीच की यह जंग बच्चों के लिए सबसे भारी पड़ी है। गाजा में बचे हुए बच्चों पर भी संकट मंडरा रहा है। भुखमरी और कुपोषण बड़ी समस्या बन गई है। ऐसे में इस युद्ध में गाजा के बच्चों का भविष्य स्वाहा हो गया।

हर बच्चे की दर्दनाक कहानी

UNICEF ने शुक्रवार को कहा कि गाजा में बच्चों का मानसिक स्वास्थ्य भी प्रभावित हुआ है। ऐसे में उन्हें बहुत सपोर्ट की जरूरत है। अलजजीरा की रिपोर्ट के मुताबिक UNICEF के एक अधिकारी ने कहा कि गाजा में हर बच्चे की की एक दर्दनाक कहानी है। उन्होंने कहा कि गाजा में लगभग 17 लाख लोग विस्थापित हुए हैं। वहीं अनाथ होने वाले बच्चे इस आबादी का कुल एक पर्सेंट हैं। हालांकि ये आंकड़े ज्यादा भी हो सकते हैं। गाजा में जो माहौल है उसमें आँकड़े इकट्ठे करना और फिर वेरिफाइ करना भी एक बड़ी चुनौती है।

सदमे में जी रहे बच्चे

उन्होंने कहा, गाजा में बच्चों के ऐसे हालात हैं कि वे कई बार अपना नाम तक नहीं बता पाते। अस्पताल बच्चों से पटे-पड़े हैं। उन्हें घायल अवस्था में अस्पताल में लाया जाता है। कई बच्चे हालात देखकर बेहोश हो जाते हैं। उन्हें इतना सदमा लगा होता है कि अपना नाम तक भूल जाते हैं। ऐसे में बहुत सारे लोग उन बच्चों को अपने पास रखते हैं। जो बच्चे अनाथ हो गए हैं, वे भी किसी ना किसी परिवार का सहारा ले रहे हैं। हालांकि यह भी बहुत मुश्किल काम है। लोग अपना ही पेट भरने के लिए तरस रहे हैं। ऐसे में किसी और के बच्चे का सहारा बनना आसान नहीं है।

5 लाख बच्चों का बिगड़ा मानसिक स्वास्थ्य

यूनीसेफ का कहना है कि गाजा में 5 लाख बच्चों को मानसिक स्वास्थ्य सपोर्ट देने की जरूरत है। फिलिस्तीनी स्वास्थ्य मंत्रालय के मुताबिक गाजा में 27 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो गई है। वहीं 66 हजार से ज्यादा लोग घायल हुए हैं। गाजा के अस्पताल दवाइयों और सुविधाओं की कमी से जूझ रहे हैं। हजार से ज्यादा लोग लापता हैं या मलबे में दबे हुए हैं। उत्तरी, मध्य और पूर्वी गाजा में इजरायल के हमले की वजह से लोगों को अपना घर छोड़ना पड़ा।